आपदा की दृष्टि से संवेदनशील इंफ्रास्ट्रक्चर के बचाव की तैयारी

Himachal News Kangra Others

DNN धर्मशाला

25 अगस्त। जिला कांगड़ा में सार्वजनिक सुविधाओं के साथ-साथ निजी एवं पब्लिक इंफ्रंस्ट्रक्चर को आपदा से बचाने के लिए खड्डों का तटीकरण तथा संवेदनशील मार्गों में सुरक्षा दीवार लगाने का कार्य किया जाएगा। आपदा प्रबंधन और मिटिगेशन को लेकर आज शुक्रवार को डीसी ऑफिस में आयोजित बैठक की अध्यक्षता करते हुए उपायुक्त कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने यह बात कही। इस दौरान जल शक्ति, लोक निर्माण, वन विभाग और बिजली बोर्ड के जिला अधिकारी उपस्थित रहे।

     उपायुक्त ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के निर्देश है कि आपदा प्रबंधन की दृष्टि से सभी आवश्यक परियोजनाओं को डीपीआर जल्द से जल्द तैयार की जाए। उन्होंने विभागों को निर्देश देते हुए कहा कि तय डीपीआर के अलावा आपदा प्रबंधन से संबंधित अन्य प्रस्तावित परियोजनाओं की रिपोर्ट भी बनाकर भेजी जाएं। उन्होंने कहा कि आपदा प्रबंधन की दृष्टि से प्राप्त डीपीआर स्वीकृति के लिए राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण को भेजी जाएंगी।

उन्होंने सभी विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए कि डीपीआर तैयार करते हुए सभी पहलुओं का ध्यान रखा जाए तथा पूर्व में आपदा की दृष्टि से संवेदनशील रह चुके क्षेत्रों के बचाव के लिए आवश्यक उपाय किए जाएं ताकि आपदा से होने वाले नुकसान को कम किया जा सके।

मौजूदा इंफ्रास्ट्रक्टर के सुदृढ़ीकरण पर फोकस

जिलाधीश ने कहा कि सरकार के निर्देश हैं कि आपदा की दृष्टि से मौजूदा सरंचनाओं के पुनः सुदृढ़ीकरण पर विशेष बल दिया जाए। उन्होंने बताया कि इसके लिए लोक निर्माण विभाग, जल शक्ति विभाग, वन विभाग, बिजली बार्ड, नगर निकायों को आवश्यक प्रोजेक्ट तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं। इसमें कांगड़ा जिला में आपदा की दृष्टि से बाढ़, भूस्खलन से सड़कों, पेयजल योजनाओं तथा आवासीय क्षेत्रों को होने वाले नुक्सान से बचाने के लिए आवश्यक प्रोजेक्ट तैयार करने पर विशेष चर्चा की गई।

31 अगस्त तैयार हो डीपीआर

डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि लोक निर्माण विभाग, जल शक्ति विभाग, वन विभाग, बिजली बोर्ड तथा स्थानीय नगर निकायों के अधिकारी इस बाबत उपमंडल स्तर पर बैठकें आयोजित करें। उन्होंने बताया कि इन बैठकों में आपदा से बचाव के लिए विस्तृत प्लान तैयार कर उसे 31 अगस्त तक जमा करवाएं। उन्होंने बताया कि विभाग नदी, खड्डों, नालों के तटीकरण तथा भूस्खलन की दृष्टि से संवेदनशील मार्गों में सुरक्षा दीवार इत्यादि को लेकर डीपीआर तैयार करें, जिसे स्वीकृति के लिए राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण को भेजी जा सके। इस अवसर पर एडीएम रोहित राठौर सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।

News Archives

Latest News