DNN मनाली (रेणुका गोस्वामी)
शनिवार को मौसम साफ होने पर बीआरओ ने एक बार फिर मिशन रोहतांग फतेह का अभियान शुरू कर दिया है। जिससे कि जनजातीय क्षेत्र के लाहौल स्पीति के लोगों को बड़ी राहत मिलेगी। बताते चलें कि 3 नवम्बर को रोहतांग दर्रा यातायात के लिए बंद ही गया था, लेकिन बीआरओ के जवानों ने 24 घण्टे भीतर सड़क से बर्फ हटाकर यातायात बहाल कर दिया था। वहीं 6 नवम्बर की रात फिर बर्फ़बारी होने से रोहतांग दर्रा पर एक बार फिर वाहनों के पहिये थम गए। लगभग पांच दिनों की मशक्कत की बाद एकबार पुनः रोहतांग पर वाहन दौड़े। इस बीच घाटी सहित रोहतांग दर्रा पर मौसम का मिजाज फिर बदला और चौथी बार रोहतांग दर्रा बंद हुआ। वहीं सरकार और प्रशासन की पहल पर रोहतांग सुरंग से 16 से 24 नवम्बर तक निगम की एक बस साउथ पोर्टल से नार्थ पोर्टल तक दोपहर के भोजन अवकाश के मध्य भेजी गई, लेकिन अचानक बीआरओ के टनल निर्माण के अधिकारियों ने सड़क कंक्रीट करने के चलते सुरंग से आवाजाही बंद कर दी और जनजातीय लोगों की मुसीबत बढ़ी। इसके बाद इसी महीने पांचवीं मर्तबा बीआरओ ने रोहतांग दर्रा बहाल करने की ठान ली है, जोकि प्रशंसनीय है। बीआरओ ने मनाली की ओर से गुलाबा और लाहौल की ओर से सिस्सू के नर्सरी से सड़क से बर्फ हटाने का अभियान शुरू कर दिया है। 38 सीमा सड़क कृतिक बल के कमांडर कर्नल उमाशंकर ने बताया कि मौसम साफ होने पर बीआरओ ने फिर से रोहतांग दर्रा से बर्फ हटाने की मुहिम शुरू कर दी है। कहा कि रोहतांग दर्रे के आसपास बर्फ़ीले हवाओं के बीच मार्ग बहाली के कार्य करना काफी चुनौतीपूर्ण है। वहीं कहा कि राहनीनाला और रोहतांग के बीच कई स्थानों पर बर्फ की मोटी दीवार खड़ी होने से दिक्कत का सामना करना पड़ सकता है, लेकिन उनकी टीम के हौसले बुलंद है।
